पाकिस्तान मैं मंदिर पर हुए हमले के बारे में आपने सुना ही होगा. 7 अगस्त को पाकिस्तान के पंजाब प्रांत की पुलिस ने बताया है कि, हिंदू मंदिर पर जो हमला और तोड़फोड़ हुई है. उस के आरोप में 20 लोगों की गिरफ्तारी कर दी गई है और 150 से अधिक लोगों के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है. एक दिन पहले ही पाकिस्तान की उच्चतम न्यायालय ने मंदिर की सुरक्षा में नाकामी को लेकर स्थानीय अधिकारियों को फटकार लगाई थी.
मंदिर मैं तोड़फोड़ क्यों करी गई?
सूत्रों के हवाले से जानकारी मिल रही है कि, एक स्थानीय मदरसे में कथित तौर पर एक बच्चे ने पेशाब कर दिया था. उसकी गिरफ्तारी भी हुई थी. लड़का हिंदू था और उसकी उम्र 8 साल थी. लड़के को अदालत के द्वारा रिहा कर दिया गया था. इसके विरोध के चलते वहां के कुछ लोगों ने मंदिर पर हमला कर दिया था.
मंदिर पर हमला होने के बाद लोगों की गिरफ्तारी चालू हो गई है. सीसीटीवी फुटेज के हवाले से संदिग्धों की पहचान हो रही है. और उन पर धाराएं लगाई जा रही है. पुलिस का कहना है कि, अपराध में शामिल हर एक संदिग्ध को गिरफ्तार किया जाएगा.
भारत में भी इस घटना की कड़ी निंदा की है. और पाकिस्तान पर दबाव बनाया है कि, इस घटना से जुड़े सभी अपराधियों को कड़ी से कड़ी सजा मिले.
पाकिस्तान की संसद में भी इस घटना पर शुक्रवार के दिन एक प्रस्ताव पारित कर के मंदिर पर हुई घटना की निंदा की है. संसदीय कार्य राज्य मंत्री अली मोहम्मद खान ने इस प्रस्ताव को पेश किया था.
पाकिस्तान में हिंदू सबसे बड़ा अल्पसंख्यक समुदाय है. पाकिस्तान में हिंदुओं की संख्या 75 लाख के आसपास वहां के स्थानीय समुदाय ऐसा मानते हैं कि, हिंदुओं की संख्या 90 लाख से भी अधिक है. सिंध प्रदेश में हिंदुओं की सबसे अधिक आबादी बसती है.
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