2016में 8 नवंबर रात 8 बजे हमारे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदीने नोटबंधी की घोषणा की थी। जिसमे पुराने 500 और 1000 रुपये के नोट बांध कर दिए थे। और सभी पुराने नोट्स को 30 दिसंबर तक बदलने की छूट प्रदान की थी। तमिलनाडु के कृष्णागिरी में एक ऐसा मामला सामने आया हैं जिसमे एक भिखारी 65 हज़ार के पुराने नोट्स लेकर जिल्ला कलेक्टर के पास पहुंचा।
भिखारी पुराने बंध हो चुके नोट्स लेकर जिल्ला कलेक्टरके पास पहुंचा की उसके नोट्स बदलकर दिए जाए। इस व्यक्ति का नाम चिन्नकन्नू हैं जो की कृष्णागिरी के चिन्ना काउण्टनर का रहने वाला हैं। उसके पास पुराने 500 और 1000के कुल मिलाकर 65000 के नोट्स मिले हैं। जो की सरकारने 8 नवम्बर 2016 को ही बैन कर दिए थे।
भिखारी का यह कहना हैं की उसने ये नोट्स कही छुपा रखे थे। लेकिन वो उसे रखकर भूल गया था क्युकी वो अँधा हैं। उसे जगह पहचानने में तकलीफ आयी थी, इसीलिए उसको तब वो पैसे नहीं मिले। उसने भीख मांगकर वो पैसे बचाये थे, लेकिन उसकी तबियत ख़राब रहने की वजहसे वो उन पैसो को ढूंढ नहीं पाया था। लेकिन अभी उसको वह नोट्स मिल गए हैं जो की वो बदलवाना चाहता हैं। जिसके लिए उसने कृष्णागिरी जिल्ला कलेक्टर को पेटिशन दी हैं की उसकी मदद की जाये।