सभी माँ बाप अपने बच्चो को बहुत ज्यादा प्यार करते है। अपने बच्चो के लिए माँ बाप कुछ भी करने को तैयार हो जाता है। लेकिन कुछ माँ बाप के नसीब इतने अच्छे नहीं होते है। कई बार किसी कारण वश माँ बाप से पहले ही उनके बच्चो की मौत हो जाती है ,जिसके कारण माँ बाप पर दुखो का पहाड़ सा टूट पड़ता है।
कुछ ऐसा ही दुखो का पहाड़ उत्तर प्रदेश के जौनपुर में उस वक्त एक मां पर दुखों का पहाड़ टूट गया। जब माँ के 30 वर्षीय बेटे की मौत हो गई। अपने बेटे को खोने के बाद मां ने उसकी अंतिम विदाई में समाजिक बंधन को तोड़ ममता की अनोखी तस्वीर दिखाई। दरअसल, जौनपुर जिले की बीजेपी की स्थानीय महिला नेता अंजू पाठक ने अपने बेटे की मौत के बाद उसे खुद मुखाग्नि दी. मां द्वारा बेटे को दी जाने वाली मुखाग्नि को देखकर मौके पर मौजूद हर किसी की आंखें हो नम गईं थीं।
वाराणसी अस्पताल में अंजू पाठक के 30 वर्षीय पुत्र हिमांशु पाठक ने अंतिम सांस ली। रिश्तेदार द्वारा बताया गया कि मृतक बेटे का इलाज लखनऊ से चल रहा था. लीवर में ज्यादा समस्या आ गई थी, जिसके बाद बीएचयू में इलाज चलने लगा। इलाज के दौरान बनारस अस्पताल में मौत के बाद घर लाया गया. क्योंकि उनके घर में अब कोई नहीं बचा था, इसलिए मां ने ही अपने केलेजे के टुकड़े को मुखाग्नि देना उचित समधा। लंबी बीमारी के चलते उनके इकलौते बेटे की मौत से मानो उनके ऊपर गम का पहाड़ टूट पड़ा हो।
जौनपुर नगर की रहने वालीं अंजू पाठक के पति राज नारायण पाठक की 10 साल पहले मौत हो चुकी थी औरजौनपुर नगर के राम घाट पर मां ने अपने कलेजे के टुकड़े को मुखाग्नि दी. यह नजारा देख मौके कम लोग गमगीन रहे. सबकी आंखों से आंसू निकल आए. अब जिसकी तस्वीर अब सोशल मीडिया पर वायरल हो रही है. महिला नेता की पति की मौत के बाद अब इकलौता पुत्र भी दुनिया से चला गया. घर में केवल वह और 3 साल के बच्चे के साथ उनकी बहू बची हैं।